When Is The Next Maha Kumbh Mela 144 Years | Kumbh Mela 2025 Prayagraj Date

महाकुंभ मेला क्यों मनाया जाता है? महत्व और इतिहास

महाकुंभ मेला हिंदू धर्म का एक प्रमुख धार्मिक और सांस्कृतिक उत्सव है, जो हर 12 वर्षों में चार पवित्र स्थलों—प्रयागराज, हरिद्वार, उज्जैन और नासिक—में आयोजित होता है। इस मेले का आयोजन पौराणिक कथाओं, ज्योतिषीय गणनाओं और धार्मिक मान्यताओं से गहराई से जुड़ा हुआ है।

महत्व:

  • आध्यात्मिक शुद्धिकरण: मान्यता है कि महाकुंभ में पवित्र नदियों—गंगा, यमुना और सरस्वती—के संगम में स्नान करने से व्यक्ति के पाप धुल जाते हैं और मोक्ष की प्राप्ति होती है। यह स्नान आत्मा की शुद्धि और पुनर्जन्म के चक्र से मुक्ति का मार्ग प्रदान करता है।
  • धार्मिक एकता: यह मेला विभिन्न संतों, महात्माओं और श्रद्धालुओं को एकत्रित करता है, जिससे धार्मिक सहिष्णुता, समाज में एकता और भाईचारे को बढ़ावा मिलता है।
  • सांस्कृतिक धरोहर: महाकुंभ भारतीय संस्कृति की समृद्धि और विविधता का प्रतीक है, जहां विभिन्न परंपराएं, रीति-रिवाज और सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित होते हैं।

इतिहास:

महाकुंभ मेले की उत्पत्ति हिंदू पौराणिक कथाओं से जुड़ी है, विशेषकर समुद्र मंथन की कथा से। इस कथा के अनुसार, देवताओं और असुरों ने मिलकर समुद्र मंथन किया, जिससे अमृत (अमरत्व प्रदान करने वाला पेय) से भरा एक कुम्भ (कलश) प्रकट हुआ। अमृत के लिए देवताओं और असुरों के बीच 12 दिवसीय (देवताओं के लिए, जो मानव वर्षों में 12 वर्षों के बराबर है) संघर्ष हुआ, जिसके दौरान अमृत की कुछ बूंदें पृथ्वी पर चार स्थानों—प्रयागराज, हरिद्वार, उज्जैन और नासिक—में गिरीं। इन्हीं स्थानों पर महाकुंभ का आयोजन होता है।

इतिहासकारों के अनुसार, महाकुंभ मेले का आयोजन प्राचीन काल से होता आ रहा है। कुछ विद्वानों का मानना है कि लगभग 6,000 वर्षों से कुंभ मेले का आयोजन हो रहा है। चीनी यात्री ह्वेन त्सांग ने 7वीं शताब्दी में अपनी भारत यात्रा के दौरान कुंभ मेले का उल्लेख किया है, जिससे इसकी प्राचीनता का पता चलता है।

See also  PSEB 8th Class Result 2025: पूरी जानकारी हिंदी में

महाकुंभ मेला धार्मिक अनुष्ठानों, सांस्कृतिक कार्यक्रमों और सामाजिक समागम का एक अद्वितीय अवसर प्रदान करता है, जहां लाखों श्रद्धालु एकत्रित होकर आध्यात्मिक अनुभव प्राप्त करते हैं। यह मेला भारतीय संस्कृति, परंपरा और आध्यात्मिकता का जीवंत प्रतीक है।

When and Where next Kumbh Mela Held

अगला महाकुंभ मेला 13 जनवरी 2025 को प्रयागराज में शुरू होगा और 26 फरवरी 2025 को महाशिवरात्रि के दिन समाप्त होगा। इससे पहले, 27 मार्च से 27 मई 2028 तक उज्जैन में सिंहस्थ महापर्व आयोजित होगा। इससे पहले, 27 मार्च से 27 मई 2028 तक उज्जैन में सिंहस्थ महापर्व आयोजित होगा।

शाही स्नान क्या है?

शाही स्नान कुंभ मेले का एक प्रमुख और पवित्र अनुष्ठान है, जिसमें विभिन्न अखाड़ों के साधु-संत विशेष तिथियों पर पवित्र नदियों में स्नान करते हैं। यह स्नान आत्मा की शुद्धि, पापों के नाश और मोक्ष की प्राप्ति का माध्यम माना जाता है।

शाही स्नान के दौरान, साधु-संत हाथी, घोड़े, रथ आदि पर सवार होकर भव्य जुलूस के साथ स्नान स्थल तक पहुंचते हैं, जो राजसी ठाठ-बाट का प्रतीक होता है। सबसे पहले नागा साधु (निर्वस्त्र साधु) स्नान करते हैं, इसके बाद अन्य साधु-संत और फिर आम श्रद्धालु स्नान करते हैं।

महाकुंभ 2025 के शाही स्‍नान की तिथियां

महाकुंभ 2025 का आयोजन प्रयागराज में 13 जनवरी 2025 से 26 फरवरी 2025 तक होगा, जिसमें तीन प्रमुख शाही स्नान निर्धारित हैं:

  1. पहला शाही स्नान: 14 जनवरी 2025 (मकर संक्रांति)
  2. दूसरा शाही स्नान: 29 जनवरी 2025 (मौनी अमावस्या)
  3. तीसरा शाही स्नान: 3 फरवरी 2025 (बसंत पंचमी)
See also  शाम के समय दीपक का मुंह किधर होना चाहिए? जानें सही दिशा और महत्व

इन तिथियों पर शाही स्नान का विशेष महत्व है, जिसमें साधु-संतों और अखाड़ों द्वारा पवित्र संगम में स्नान किया जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इन अवसरों पर स्नान करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है और सभी पापों से मुक्ति मिलती है।

महाकुंभ के दौरान अन्य महत्वपूर्ण स्नान तिथियां भी हैं, जैसे:

  • पौष पूर्णिमा: 13 जनवरी 2025
  • माघी पूर्णिमा: 12 फरवरी 2025
  • महाशिवरात्रि: 26 फरवरी 2025

अगला कुंभ कब और कहां लगेगा:

12 साल बाद वर्ष 2028 में 27 मार्च से 27 मई तक उज्जैन में सिंहस्थ महापर्व का आयोजन होगा। इस महापर्व में 09 अप्रैल से 08 मई तक 03 शाही स्नान व 07 पर्व स्नान प्रस्तावित हैं। उज्जैन में कुंभ मेला शिप्रा नदी के किनारे आयोजित किया जाता है। अनुमान है कि इस कुंभ में 14 करोड़ श्रद्धालु शामिल हो सकते हैं। इससे पहले मध्य प्रदेश में सिंहस्थ महाकुंभ 2016 में लगा था।

उज्जैन में कब लगता है कुंभ मेला:

उज्जैन में आयोजित होने वाले कुंभ मेले को ‘सिंहस्थ कुंभ’ कहा जाता है। यह मेला हर 12 वर्षों में तब आयोजित होता है, जब बृहस्पति ग्रह सिंह राशि में स्थित होता है।

अगला सिंहस्थ कुंभ उज्जैन में 27 मार्च 2028 से 27 मई 2028 तक आयोजित होगा। इस अवधि में 9 अप्रैल से 8 मई के बीच 3 शाही स्नान और 7 पर्व स्नान प्रस्तावित हैं। इस महापर्व में लगभग 14 करोड़ श्रद्धालुओं के शामिल होने की उम्मीद है।

सिंहस्थ कुंभ के दौरान, श्रद्धालु पवित्र क्षिप्रा नदी में स्नान करते हैं, जो आध्यात्मिक शुद्धि और मोक्ष की प्राप्ति के लिए महत्वपूर्ण माना जाता है।

सिंहस्थ कुंभ 2028 की तैयारियों के बारे में अधिक जानकारी के लिए, आप निम्नलिखित वीडियो देख सकते हैं:

See also  Cha Cha Slide Google: The Hidden Dance Move on Your Search Screen

 

महाकुंभ 2025 के लिए टेंट बुकिंग: ऑनलाइन आवास कैसे आरक्षित करें

महाकुंभ 2025 के दौरान प्रयागराज में टेंट में ठहरने के लिए आप ऑनलाइन बुकिंग कर सकते हैं। यहां कुछ विश्वसनीय विकल्प हैं:

  1. IRCTC (भारतीय रेलवे खानपान और पर्यटन निगम):
    • वेबसाइट: www.irctctourism.com/mahakumbhgram
    • बुकिंग प्रक्रिया:
      • वेबसाइट पर जाएं और महाकुंभ 2025 के अनुभाग में “बुक नाउ” पर क्लिक करें।
      • टेंट के प्रकार (सिंगल, डबल, आदि) और चेक-इन एवं चेक-आउट तिथियां चुनें।
      • ऑनलाइन भुगतान (डेबिट/क्रेडिट कार्ड, यूपीआई, नेट बैंकिंग) करें।
      • बुकिंग पुष्टि ईमेल या एसएमएस के माध्यम से प्राप्त करें।

ध्यान दें: IRCTC की टेंट सिटी में वॉक-इन बुकिंग सीमित हो सकती है; इसलिए अग्रिम बुकिंग की सलाह दी जाती है।

  1. काशीयात्रा (Kashiyatra):
    • वेबसाइट: kashiyatra.in/mahakumbh-2025-tent-booking/
    • बुकिंग प्रक्रिया:
      • वेबसाइट पर जाएं और टेंट के प्रकार एवं तिथियां चुनें।
      • ऑनलाइन भुगतान करें।
      • बुकिंग पुष्टि प्राप्त करें।

संपर्क: अधिक जानकारी या सहायता के लिए +91-6387337682 पर कॉल करें या kashiyatratour@gmail.com पर ईमेल करें।

  1. द कुंभ यात्रा (The Kumbh Yatra):
    • वेबसाइट: thekumbhyatra.com/accommodation/
    • बुकिंग प्रक्रिया:
      • वेबसाइट पर उपलब्ध विभिन्न टेंट विकल्पों (इकोनॉमी, डीलक्स, लग्जरी) में से चुनें।
      • चेक-इन और चेक-आउट तिथियां दर्ज करें।
      • ऑनलाइन भुगतान करें और पुष्टि प्राप्त करें।

संपर्क: अधिक जानकारी के लिए +91-9958-647-371 पर कॉल करें।

महत्वपूर्ण सुझाव:

  • अग्रिम बुकिंग: महाकुंभ में बड़ी संख्या में श्रद्धालु आते हैं, इसलिए शीघ्र बुकिंग करें।
  • प्रमाणित वेबसाइटें: सुरक्षित और विश्वसनीय बुकिंग के लिए केवल आधिकारिक या प्रमाणित वेबसाइटों का उपयोग करें।
  • भुगतान: ऑनलाइन भुगतान करते समय सुरक्षित इंटरनेट कनेक्शन का उपयोग करें।
  • पुष्टि: बुकिंग पुष्टि ईमेल या एसएमएस को सुरक्षित रखें और यात्रा के दौरान साथ रखें।
How to make ghibli studio style photo for free ttecr-फ्री में Ghibli इमेज कैसे बनाएं? Grok पर ये है प्रोसेस Studio Ghibli Art Style की 5 विशेषताएँ